Tuesday, July 7, 2015

रहेगी जानता सब कुछ सहकर चुप ;चुप; चुप।

भारतीय न्यायालय  और  क़ानून    ,
अमीरों के अन्ययाय को 
वकीलों द्वारा ,वायदे के द्वारा 
बचाने  के लिए. 

अपराधी को जमाँनत   के   नाम से 
 स्वतंत्रता से चलने फिरने के लिए 

गरीब का छोटा -सा  अपराध बन जाएगा हिमालय बराबर. 

बड़ों के मंत्रियों के ,नामी अभिनेत्रियों   के हिमालय बराबर
 देश द्रोही केसाथ  मिलने पर भी  तिल बराबर का 

वायदे पर वायदा ,फाइलों का नदारद  होना ,

दफ्तरों का  जलना ,जलाना ,गवाहों की हत्या 

सब  पूछ -ताछ  के नाम से वर्षों बीतते रहेंगे 
न फैंसला सुनायेंगे.  न  मुकद्दमों का  अंत होगा ;न अपराधी अमीर हैं तो दंड न भोगेगा. 
आत्महत्या करनेवालों  के प्रोत्साहित करने तीन लाख देंगे. 
भय  के नाम से  या स्वार्थ के आधार पर 
रहेगी जानता सब कुछ सहकर चुप  ;चुप; चुप। 



Sunday, July 5, 2015

खुद आते हैं खुदा /ईश्वर।

ईश्वर की कृपा और स्वस्थता प्राप्त करने 

आध्यात्मिक मार्ग /भक्तिमार्ग  पर चलने 

सनातन धर्म के मार्ग अनेक। 
पर लक्ष्य एक। 
बोधिवृक्ष के नीचे  बैठो ,
ज्ञान मिलेगा। 
सहज मार्ग ,आँखे बंद करो ;
मन को नियंत्रण पर रखो। 
बस बाह्याडम्बर की नहीं आवश्यकता। 
दूसरा हैं पाप मिटाने ,
सुख पाने ,नौकरी मिलने 
संपत्ति मिलने , धर्म गुरु से मिलो। 
यन्त्र लो। 
अमुक पन्ने  की अंगूठी लो। ,
अमुक संत से मिलो। 
,अमुक मंदिर जाकर प्रायश्चित करो। 
यह एक भक्ति मार्ग चलाने वाले 
जीविकोपार्जन करनेवाले कहते  हैं 
यज्ञ में दूध की नदी बहाओ,
रेशम की साड़ी डालो।
सिक्के डालो। 
हज़ारों की खर्च करो.
 यह एक स्वार्थ मार्ग। 
हीरे का मुकुट पहनाओ। 
 सिंहासन पर बिठाओ ;
आलीशान  मठ  बनाओ ;
यह एक अपना अलग मार्ग 
तीसरा मार्ग अन्नदान करो ,
वस्त्रदान करो 
जिओ परोपकार के लिए ,
कर्त्तव्य निभाओ ,कर्म मार्ग अपनाओ 
 काम करो ,जो कुछ मिलता है ,
उससे संतोष प्राप्त करो 
सत्य को अपनाओ ;
धर्म पथ पर चलो. 
सभी मार्ग में भीड़ ;
राजनैतिक नेता अनेक ;
उनके अनुयायी पैसे के आधार पर;
देव अनेक ; 
जहां रूपये की वर्षा हो 
वहाँ   भीड़ अधिक;
पर जो  धर्म मार्ग के जनक हैं 
शंकर हो ,रामानुज हो , बुद्धा हो ,महावीर हो ,
तुलसी हो, कबीर हो 
अल्ला के पैगम्बर मुहम्मद हो ,
ईसामसीह हो 
सब सादगी की मूर्ती ,बाह्याडम्बर से दूर 
पर उनके नाम पर जाने वाले विपरीत ;
भगवान शिव तो श्मशान के विभूति धारी 
विष्णु तो लक्ष्मी पति 
न जाने कौनसा मार्गशांति प्रद ,
सरल सहज मार्ग अपनी आत्मा जीवात्मा में 
परमात्मा बिठाकर जप -ध्यान में लग्न जैसे 
भक्त ध्रुव ,प्रह्लाद ने किया हो /
धन ,सोना चांदी ,हीरे पन्ने वाले भाग्यवान 
बाकी लोग सच्चे भक्त वही धार्मिक। 
सोचो समझो उचित मार्ग अपनाओ 
व्यर्थ भगवान की कृपा के लिए पैसे की चिन्ता 
वही सच्चा भक्त ,
जिसकी तलाश में
 खुद आते हैं खुदा /ईश्वर। 

Saturday, May 30, 2015

सच है साहित्य समाज का है दर्पण।

देश में    न्याय  -अन्याय   दोनों में

न्याय कम   और  अन्याय   अधिक।

बलात्कार -बालापराध  अधिक।

अवैध सम्बन्ध और हत्या  अधिक।

पुलिस नालायक  /मंत्री भ्रष्टाचारी
सरकारी अधिकारी रिश्वतखोरी।

बदमाश आवारा बनता नायक

मारता   है  पुलिस  को ,
अनपढ़ नायक  के पीछे
नायिका पागल.
वही अमीर ,मनमाना करनेवाला हीरो
जो करता है स्मगलिंग। कालेधन /और कालाबाज़ारी /मालामाल.

यही  है कहानी  चित्र पट  की।

सच है साहित्य समाज  का है दर्पण।


Tuesday, May 26, 2015

सब ही नचावत राम गोसाई।

 चाहें  बड़ी बड़ी 
मांगें बड़ी बड़ी 
भाग्य भला तो भला 
भले ही कोशिशें बड़ी बड़ी हो 
भले ही सिफारिशें बड़ी बड़ी हो 
भगवान की कृपा ही सबसे बड़ी। 
कहा है --लिखा है हर दाने पर 
दाने दाने पर खानेवाले का नाम. 
पानेवाले का नाम. 
देनेवाले का  नाम. 
हम सोचते हैं हम ही हम है 
अपराधी बचता है
 निरपराधी फँसता है 
फंसने फंसाने 
बचने बचानेवाले 
भगवान होते हैं। 
राजा का रंक  बनना 
रंक  का राजा बनना 
सब ही नचावत राम  गोसाई। 

Monday, May 25, 2015

अच्छों के साथ रहे;


वंदना करता हूँ ,

विघ्नेश्वर   को ,

मूलेश्वर को 

आदिमूल  गज  वदना  को. 

दन्त तोड़कर लिखा महाभारत। 

मूषिक वाहन
 ,
मुक्ति प्रद ,

संतोषप्रद 
आनंदप्रद 
पार्वती प्रिय नंदन 
शिवकुमार 

ज्ञानप्रद 
ज्ञान विनायक 
निवेदन है उनसे 
कामना है उनसे 
अच्छों के साथ रहे;
सबों को करें रक्षा। 



Sunday, May 24, 2015

लाता है बेचैन.

ॐ  शान्ति ! ॐ  शान्ति ॐ !ॐ  शान्ति !

मनुष्य जीवन  में चैन कहाँ ?

गोल्ड चेइन की आशा में 
खो देते हैं  चैन. 

नौकरी की आशा में खो देते हैं चैन। 
नौकरी  मिलने पर भी चैन नहीं 
पदोन्नति की प्रतीक्षा  में । 

योग्य सुन्दर मनपसंद पति या पत्नी की आकांक्षा में. 

कदम कदम पर बढ़ते बढ़ते 
नयी मांगें ,नयी चाहें ,नयी उमंगें 
लाता  है  बेचैन. 

Tuesday, May 5, 2015

आदर्श देश -भक्त हो तो

आज   जुगलकिशोर गुप्ता जी  की शायरी पढ़ी ,

माता  ,पिता ,बेटा ,बेटी ,बहु ,सास के लक्षण  लिखा हैं 

जिससे पारिवारिक शान्ति  भंग न हो. 

यदि देश के प्रति भक्ति हो तो 

आदर्श देश -भक्त हो तो 

ऐसा  काम  करने मन में स्थान न दें  
जिससे देश के नाम कलंकित हो. 

संयमित  नियंत्रित  जीवन  

बलात्कार  को स्थान  न दें ;

काले धन ,भ्रष्टाचार ,रिश्वत क्या है 

इसका  पता न हो. 

भ्रष्टाचारी ,कालधनी ,रिश्वतखोरी को कठोरतम दंड मिले. 

चुनाव में योग्य देश सेवको को ओट दें 
पैसे लेकर  ओट देना  बंद हो. 
मनुष्य -मनुष्य में प्रेम हो ,
मनुष्यता प्रधान हो। 
देश  भक्ति में त्याग  और सेवा प्रधान हो.