Monday, May 25, 2015

अच्छों के साथ रहे;


वंदना करता हूँ ,

विघ्नेश्वर   को ,

मूलेश्वर को 

आदिमूल  गज  वदना  को. 

दन्त तोड़कर लिखा महाभारत। 

मूषिक वाहन
 ,
मुक्ति प्रद ,

संतोषप्रद 
आनंदप्रद 
पार्वती प्रिय नंदन 
शिवकुमार 

ज्ञानप्रद 
ज्ञान विनायक 
निवेदन है उनसे 
कामना है उनसे 
अच्छों के साथ रहे;
सबों को करें रक्षा। 



No comments:

Post a Comment