Thursday, April 11, 2019

रातें (மு )


शीर्षक :- रातें।

रातें  क़ाफिया
शीर्षक  दिया  है
 परिषद  ने।
क़ाफिया क्या?
जानने की जिज्ञासा ।
रातें  तेरी मेरी
सृष्टि  की बातों  की रातें ।
 शहद चाँद  की रातें
रातें  मुलाकात  की बातें ।
अमावास्या  की रातें,
रातें  बनाती जुगुनुको चाँद ।
 रातें  चोरों  को आनंद की।
डाकुओं  की रातें,
पुलिस  की घाते ।
नव दंपति को
रातें  आनंद  भरी।
 रातें  पुलिस  को सतर्क  भरी।
रातें  स्मग्लर्स की चालाकी।
सृष्टि कर्ता धर्ता  को आनंद ।
रातें  न होती  तो ब्रह्मा को काम नहीं
पुलिस  गुप्तचर  को काम नहीं ।
रातें  अच्छी  मीठी फिर भी खतरे से  खाली नहीं ।
स्वरचितस्वचिंतक यस ।अनंत कृष्णन।

No comments:

Post a Comment