Thursday, April 20, 2017

श्री कृष्ण से मेरी कामना.

हरे कृष्ण! हरे कृष्ण!

 तुझपर आरोप!

ब्रह्मा ये क्यों नहीं कहते

अत्यंत अत्याचारियों की सृष्टि नहीं करना.

हमारा कुछ नहीं बनता -बिगडता.
 
हम हैं तेरे शरणार्थी.

जानते हैं तुम शरणागत वत्सल हो.
अतः हमें कोई चिंता नहीं.

तुझीको पुनः अवतार लेना पड़ेगा.
रण क्षेत्र में कूदना पड़ेगा.
 मोहिनी अवतार लेना पड़ेगा.
असुर की कुदृष्टि तुम पर पडेगी.
शिव के  मोह  से  बच्चा होगा.

उस बच्चे को संघर्षमय जीवन जीना पडेगा.
हिरण कश्यप की सृष्टि ये
तेरे भक्त प्रह्लाद को जितना
कष्ट उठाने पडे,
 उतने किसी को नहीं .
रावण की सृष्टी की तो
रामावतार में
तेरी ही अर्द्धांगिनी को ही
अपहरण करके चला.
शिव तो सर्वज्ञ,
पर वर देकर दुष्टों का बल क्यों बढाते.

तुम क्यों उनसे नहीं कहते कि

 सोच समझकर वर देना.

हमारा कुछ नहीं बनता बिगड़ता.

हम हैं तेरे शरणार्थी,
 तू तो शरणागत वत्सल.
हमारी कोई चिंता या भय नहीं,
हम हैं तेरे भक्त,शरणार्थी.
व्यर्थ ही तुझको अवतार लेना पडेगा.
कष्ट उठाना पड़ेगा .,
दुष्टों को संहार करना पड़ेगा.
महाभारत जैसे तेरे वंश का शाप होगा.
धर्म क्षेत्र युद्ध क्षेत्र भले ही हे,
अच्छे , तेरे शरणार्थी भक्त आदि को भी
भाग लेना पडेगा,
तेरा बदनाम होगा.
हमको कोई भय या चिंता नहीं,
हम है तेरे शरणार्थी भक्त .
जपते तेरे नाम, हरे राम, हरे कृष्ण.
हर हर महादेव. ओम नारायणायनमः.
दुष्टों को संहार करना पड़ेगा.
कष्ट उठान पड़ेगा.

Sunday, April 9, 2017

विचारणीय राजनीती हमारी

    तमिलनाडु राजनीति

  हिंदी मुर्दाबाद. संस्कृत मुर्दाबाद . ब्राह्मण मुर्दाबाद.
  तमिल कन्या है.  तमिल माँ  है. तामिल प्रेमिका  है.
 हम अंग्रेज़ी  माध्यम पढेंगे.
हम केन्द्रीय स्कूल चलाएँगे.
तमिल माध्यम  स्चूलों को बंद करेंगे.
बंद कर चुके हैं . बंद कर रहे  हैं .
बंद करने तैयार  स्थिति में हैं हज़ारों स्कूल.
नवोदय विद्यालय गरोबों के लाभप्रद हैं तो  खोलने का विरोध करेंगे.
खुलने  न देंगे.
शराब  के कारखाने लाभ उठाने हाई वेस से ५०० फीट की दूरी पर खोलने
जल्दी कार्रवाई करेंगे.
सरकारी स्कूल  में अध्यापक की नियुक्ति करने में  देरी करेंगे.
हमारे पास हैं लाखों करोड़ रूपये.
गुंडे हैं   तैयार.
कुली सेना   तैयार.
पैसे लेकर  वोट  देने
मतदाता तैयार.
तमिल जिंदाबाद! ब्राह्मण मुर्दाबाद!
हिंदी मुर्दाबाद!
शराब की दूकाने जिंदाबाद.
वोट ! आधार है पैसे.
स्वार्थ राजनीती जिंदाबाद.

nan Sethuraman एन्नामो போங்க சார்.
ஹிந்தி ஒழிக. சமஸ்கிருதம் ஒழிக பாப்பான் ஒழிக.
தமிழ் கன்னித்தமிழ் . அன்னை தமிழ் காதலி தமிழ்
நாங்கள் படிப்பது ஆங்கிலவழி. है
நாங்கள் நடத்துவது மத்திய பள்ளி.
தமிழ் பள்ளிகள் மூடுவோம். மூடி இருக்கிறோம்
மூடிக்கொண்டிருக்கிறோம்.
மூடத் தயார் நிலையில் பல அரசு தனியார் உதவி பெரும் பள்ளிகள்.
நவோதயா ஏழைகள் படிக்கும் பள்ளி தமிழகத்தைத் தவிர அனைத்து மாநிலங்களிலும் .
ஆனால் நாங்கள் தமிழகத்தில் நடத்த அனுமதிக்க மாட்டோம்.
சாராயக்கடை ௫௦௦ அடி தள்ளி திறக்க விரைவாக முனைவோம்.
அரசுப்பள்ளியில் ஆசிரியர்களை நியமனம் செய்ய தாமதிப்போம்.
புதிய தனியார் பள்ளிகள் எங்கள் அரசியல் திறக்கும்.
ஆலைகள் ஆ!சாராய ஆலைகள் திறப்போம்.
பணமோ கோடிகள். அதைப்பெற்று எதையும் செய்ய கேடிகள் . கூலிப்படைகள்.
பணம் பெற்று வாக்களிக்க மக்கள்.
வாழ்க தமிழ்!
தமிழரே முதல்வர்!
காமராஜரை தோற்கடிப்போம்.
ஒளிந்து மறைந்து அந்தணர்கள் எங்களுக்காக வேள்வி நடத்துவர்.
எங்கள் வீட்டில் யாரேனும் ஒருவர் ஆலயம் சென்று பரிகாரம் செய்வோம்.
அந்தணர் ஒழிக! ஹிந்தி ஒழிக! தமிழ்வாழ்க!
வளர்க மக்களின் அறியாமை!

Wednesday, March 22, 2017

मन की धड़कन .

मन में है उसकी धड़कन?
किसकी ?
राम को भी
 कृष्ण को भी.
परमेश्वर, विष्णु को भी.
इंद्र तो हजार नेत्र का शाप पात्र.
कुंती देवी तो शाप प्रचलित.
दशरत के पुत्र कामेष्टी
 यज्ञ प्रसिद्ध.
कृष्ण लीला अति पसंद.
फिर भी भारत में
ब्रह्मचर्य का महत्व प्रसिद्ध.
सब से निराला हनुमानजी
ब्रह्मचर्य के नामी.
बल पौरुष में श्रेष्ठ.
वानर से गया गुजरा मानव मन.
कंस, रावण भीष्म भी अपहरण के लिए प्रसिद्धि.

Friday, February 17, 2017

भगवान की देन

ॐ गणेशाय नमः ;
ॐ कार्तिकेयाय नमः
ॐ शिवाय नमः





ॐ दुर्गायै नमः

प्रातः काल प्रार्थना ,
प्रायः ईश्वर सुनेंगे ही.
प्राप्त यह मनुष्य जन्म
प्रमाण है उसकी दयालुता का.
प्रगति मेरे तीन किलो
एक दिन का मेरा लघु रूप !
अब उम्र ६७ वजन ८२ किलो
बूढा दादा -नाना .
यह सब ईश्वर की कृपा.
अन्याय ,भ्रष्टाचार रिश्वत ;
वे लोग सुखी ,आधुनिक सुविधा से भरपूर.
यों सोचता ,मैं करता ईश्वर की करतूत की निंदा.
सोचा . मैं हूँ सत्य का अवतार ;
ईमानदार का मूल . कर्तव्य का कर्म वीर ;
तभी कबीर के एक दोहे कानों में पड़ा;
अनपढ़ ,नीच ,जुलाहा, जन्म तक संदेह ;
न पिता का जन्मा ,विधर्मियों द्वारा पाला-पोसा;
वह क्या कहता; पर सरल शब्द ,गंभीर अर्थ;
भाई क्या भगवान को दूंढ रहे हो ?
सुनो --तेरा साई तुझमें ,ज्यों पुहपन में वास !
कस्तूरी का मृग ज्यों फिर -फिर ढूंढें घास!!
हरे! बुरा जो देखन मैं गया ,बुरा न मिलिया कोई .
जो दिल खोजा आपना ,मुझसे बुरा न कोय.
मन अपवित्र ,बाह्य वेशभूषा भक्ति का , कुछ न लाभ;
माला फेरत जुग भया , फिरा न मन का फेर.
कर का मनका डारी दें , मन का मनका फेर.
गुदड़ी के लाल सा कबीर , सरल भाषा में तत्वार्थ .
बन गए वाणी का डिक्टेटर;
धार्मिक एकता का सन्देश , मूर्ती पूजा के विरोधी.
बाह्याडम्बरों का खंडन , हमारे कबीर ;
गुरु भक्ति ,ईश्वर भक्ति ,हठयोग ,सत्संग
ज्ञानी या ज्ञान या ब्रह्मानंद किसको ?
चाह गयी चिंता मिटी , मनुआ बे परवाह.
जाको कछु न चाहिए ,वह है शाहंशाह.

Tuesday, February 14, 2017

मनुष्य के सबसे बढिया बल

 मनुष्य के सबसे बढिया
बल बुद्धिबल.
क्या इसमें मिल...
:
 मनुष्य के सबसे बढिया बल
बुद्धिबल.
क्या इसमें मिली है सफलता?
 धनबल ? धन बल से तो हम चैन पाते हैं ?

 वीर /शारीरिक बल ? सोचो , तीनों बलों..में .

संतोष -शांती है क्या ?

वास्तव में चाहिए  हमें ईश्वरीय  बल.

कबीरने  कहा--

जाको    राखे  साइयां
 मारी  न   सके कोय .

बाल   न  बांका करी सके ,

जो  जग  वैरी होय . 

मनुष्य का वास्तविक बल

मनुष्य के सबसे बढिया
बल बुद्धिबल.
क्या इसमें मिली है सफलता?
धनबल ?
धन बल से तो हम चैन पाते हैं ?
वीर /शारीरिक बल ?
सोचो ,
तीनों बलों के होने पर भी
 संतुष्ट व्यक्ति या कमी रहित व्यक्ति 
100% सुखी हैं 
कोई इस संसार में?
अभाव रहित भाव ही
 भव में प्रधान.
आदी काल से आधुनिक काल तक
प्रगती तीनों बलो में हुई है
फिर भी क्या मनुष्य है भय रहित ?
अंतिम दिन में मरने के लिये
लोग आत्म वेदना लेकर ही तडपते हैं .
अंत में सबको यही मानना बढ़ता है
" सबहीं नचावत रामगोसाई" .
जग में वैदिक ग्रंथ ,क़ुरान , बाइबिल जैसे
आध्यात्मिक के ग्रंथ ही
मनुष्यों को शान्ति प्रद , संतोष प्राण ,ब्रह्मानंद प्रद.
दिव्य शक्ति के ध्यान ,योग ,प्रार्थना , जप -तप आदि ही
मनुष्य को देती शान्ति,
दया,
संयम ,
परोपकार और मनुष्यता के आदर्श गुण.

पर शैतानियत /माया
 मनुष्य को लोहे और चुम्बक समान चिपककर
बिगाड़ देती मनुष्य मन.
बचने /सुरक्षित शान्ति पाने
 प्रार्थना के सिवा ,
ईश्वर की कृपा के सिवा
और कुछ नहीं अगजग में. 

Saturday, February 11, 2017

काली माँ की जय !

काली  माँ  की  जय !

खाली मन में  ,
काली माँ ,
केवल ध्यान है  तेरा!
मैं तो बन गया
तेरा शरणागत !
मानता हूँ ,
समझता  हूँ ,
तू तो शरणागात्वत्सल.
आशा  के बंधन में
आशाभरी आँखों  में
देख रहा  हूँ  तेरी ओर!
मैं क्या मांगूँ ,
तुझसे ?
तू  जानते हो ,
 मेरी माँग!

मैं तो  तेरा सृजन .
जैसे नचाती हो ,
 वैसे ही नचाओगी तू.
तेरी इच्छा के विरुद्ध ,
कुछ  नहीं हिलता जग  में.
जग-जगजननी तू .
जगत  की माता ,
आ गया मै  तेरे चरण में .
भव  बाधा दूरी कर दो ,
भवानी  माँ.
माया भरी लौकिक जीवन ,
माँ , तेरी कृपा से बच जाऊँ.
क्या मांगूँ मैं ?
काली  माँ  तेरा  जय हो !
काली माँ  की जय हो !
खाली मन में काली माँ केवल 
तेरा ही ध्यान है  मन में.