Friday, January 4, 2019

आज के चिंतन (मु )

आज के चिंतन.
विभिन्न  मिट्टी,
विविध गुण.
रेगिस्तान  के पौधे, जीव जंतु,
पहाडी जडी  बूटियाँ,
दक्षिण के धान,
उ त्तर के गेहूँ,
पाश्चात्य  वनस्पतियाँ.
वह भूमिगत गुण.
भारतीय  त्यागी आलसी,
बैठे राम नाम जपो,मिलेगा खाना.
संपन्न समृद्धभूमि.
लगभग विश्व के सभी देश आये,
खूब लूट, मंदिर की मूर्तियाँ  ले गये,
अपनी भाषा, अपने धर्म तोपे,
बेगार गुलाम बनाये, सब सहा,
फिर भी देश की अमीरी, मंदिर का खजाना,
स्वर्ण  कलश, स्वर्ण  कवच,
हीरो का मुकुट, अमूल्य हीरे पन्नों से भरे गोदाम.
ईश्वर रक्षित मेरी मातृभूमि स्वर्ग  तुल्य.
जय हिंद. जय जवान जय किसान.
त्याग में आनंद, भोग में दुख.
यही भारतीय  गुण,
अर्द्ध नग्न साधु बदला सुंदर का गुण.
सही ईश्वरीय शक्ति.

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