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Monday, November 17, 2025

परिवर्तन

 परिवर्तन का प्रकाश।

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एस.अनंंतक‌ष्णन, चेन्नई तमिलनाडु 

18-11-25+

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परिवर्तन प्रकृति की देन।

दो सूक्ष्मबिंदुओं के

 मिलन  ।

न रूप न आकार

दस महीने में 

 शिशु ।

 अद्भुत आश्चर्यजनक

 परिवर्तन।

छै ऋतुओं के परिवर्तन।

शुक्र पक्ष कृष्ण पक्ष परिवर्तन।

सूर्योदय प्रकाश ।

 परिवर्तन बीज,

अंकुर पौधे,वृक्ष

 कली,फृल ,

 कच्चा पक्का फल।

तितलियों कीजीवनी।

 पत्थर रगड़कर आग,

 लकड़ी जलाकर आग,

चर्बी से दिया,

 मिट्टी के दीप,

 तेल से दिया।

गेस लइटर,

बिजली की रोशनी,

सूर्य ऊर्जा 

शिलालेख,

ताड़ के पत्ते लेख

 छापेख़ाने का आविष्कार।

ध्वनि संकेत,

तार,

दूरभाष 

 मोबाइल 

संगणक

 अंतरजाल 

 बैल, घोड़े,गधे ,

 तांगा, बैल गाड़ी,

मोटर गाड़ी, पैर गाड़ी,

 बस, रेल, विमान, हेलिकॉप्टर 

 यातायात के परिवर्तन।

 मानव जीवन अति सुविधा जनक।

 परिवर्तन प्रकाश में 

कितना आनंद।

पाषाण युग से वैज्ञानिक युग,

 चिकित्सा प्रणाली 

 शल्य चिकित्सा,

अंग दान, नेत्रदान 

 स्केन, रोग निदान 

 सब परिवर्तन में 

 प्रकाश ही प्रकाश।

 पर मानव जीवन परिवर्तन में 

बाल रंग परिवर्तन,

बालों का झड़ना

बुढापा , असहाय 

 स्वर्ग-नर्क वेदनाएँ।

परिवर्तन के शोक,

मानव का निधन।

 पुराना मिटना

 नया  होना

 परिवर्तन के प्रकाश अंधकार।

 यही सूक्ष्म ब्रह्म लीला।

एस.. अनंत कृष्णन, चेन्नई तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक द्वारा स्वरचित भावाभिव्यक्ति रचना।

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