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Friday, October 3, 2025

विश्व पशु कल्याण दिवस

 विश्व पशु कल्याण दिवस 

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एस.अनंतकृष्णन, चेन्नई तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक 4-10-25

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ईश्वर की सृष्टि में पशु  अद्भुत।

 माँसाहारी, शाकाहारी,सर्वा हारी।

 इनमें ज्ञान चक्षु प्राप्त मानव सर्वाहारी।

 वह अति बुद्धिमान ,

 परिणाम प्रकृति को

 अपने इच्छानुसार 

 नचाना चाहता हैं।

 पर प्रकृति अति सूक्ष्म शक्ति। 

ईश्वरीय कानून।

 जंगलों का नष्ट किया।

खूँख्वार जानवरों को

 अपनी रक्षा हेतु, आहार हेतु  नष्ट किया।

 सुअर,हिरण, खरगोश,गाय,बैल 

 सबका सर्वा हारी मानव।

 अब समझ रहा है,

 प्राकृतिक नाश,

 मानव सुखी जीवन के लिए नाश।

 जंगलों का काटा,

 अब अकाल के लक्षण है जान पुनः जंगल निर्माण का वन महोत्सव।

 अनेक  जंगली में जानवरों का नामोनिशान नहीं।

 अतः पशु कल्याण दिवस द्वारा  जंगली और अन्य पशुओं की रक्षा  के लिए 

  विश्व पशु कल्याण दिवस   ।

 जिसका उद्देश्य अभ्यारण्य के द्वारा 

 पशुओं  की रक्षा।

गोशाला के द्वारा गाय बैलों की सुरक्षा।

जानवरों के प्रति दया।

 जानवरों को स्वतंत्र विचरण की  सुविधा।

 धन्य है जर्मन के बैज्ञानिक हेनरिक 

 जिन्होंने ने विश्व पशु कल्याण  दिवस का आह्वान किया।

24मार्च 1925 पहला विश्व कल्याण दिवस।

 अब 4अक्तूबर हर साल मनाया जाता है।

 मानव गुण की तुलना 

 जानवरों से, न कि जानवर की तुलना मनुष्य से।

 गजज्ञजैसा मस्त चाल।

 हिरण जैसी  कातर दृष्टि।

मीन लोचनी। सियार सा चालाक,। सिंह सा गंभीर एकांत। मधुमक्खियाँ और चींटियों से मेहनत और अनुशासन।

गरुड़ दृष्टि,बाज दृष्टि।

मानव से श्रेष्ठ निस्वार्थ जानवर,

 उनकी सुरक्षा, संरक्षण,

  दया दिखाने का दिन विश्व पशु कल्याण दिवस।

 हम भी पशुओं की आज्ञा में साथ देंगे।

 एस.अनंतकृष्णन, चेन्नई तमिलनाडु हिंदी प्रेमी प्रचारक द्वारा स्वरचित भावाभिव्यक्ति रचना 




 

 

 

 

 


 


 

 





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